मन काग़ज़ की नाव

मन काग़ज़ की नाव

तेरा मन काग़ज़ की नाव,
और दुनिया ये तेज बहाव। 

तेरे हाथ तेरी पतवार हैं, 
विपरीत तेरे बयार है। 

कर कूच किसी भी ओर, 
तुझे मिल जायेगा छोर। 

तुझे छांव की तलाश नहीं, 
इच्छाओं की प्यास नहीं। 

चाहे धाराओं ने विष परोसा हो, 
बस कर्म में तेरा भरोसा हो । 

मजबूत इरादा रख अपना, 
सब पीछे छोड़ तुझे बढ़ना। 

ये धाराएँ भी हरेंगी, 
तेरी विजय लहर बन जायेगी। 

अब तक जो रोक रही थी 
तुझे मज़िल तक ले जायेगी।

अल्फाज़








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