फ़िक्र



 फ़िक्र




होता है खुद से जिक्र जब भी तुम्हारा , 

आज भी मुझको तुम्हारी फ़िक्र होती है , ... 

याद करके आज भी चेहरा तुम्हारा , 

बेबसी मेंआँखें मेरी खूब रोती है ,,,


अल्फ़ाज़ 

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