अँधेरों की भी एक कहानी है ,यहाँ मदहोश होती जवानी है,ये रात हमसफर उनकी,जिनकी रगों में मुहब्बत की रवानी है,यहाँ कई चांद से चेहरे खिलते हैं,जिस्मों से जिस्म भी मिलते हैं,रूहों का बाज़ार सजता है,दिल शीशों से बिखरते हैं,,,इस कालेपन की चादर में,कईयों की आँखों में पानी है,अँधेरों की भी एक कहानी है!!अल्फ़ाज़
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